इंसपेक्टर और विवेचक का वारंट निरस्त, गवाही

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उन्नाव। अजगैन कोतवाली क्षेत्र में सात साल पहले चार लोगों पर दर्ज गैंगस्टर के मामले में तत्कालीन थाना प्रभारी व विवेचक मंगलवार को कोर्ट में गवाही के लिए पेश हुए। कई बार समन जारी होने के बाद भी गवाही में न पहुंचने पर दोनों ने न्यायालय में अपना पक्ष रखा। इससे दोनों पर जारी गैर जमानती वारंट कोर्ट ने निरस्त करते हुए उनकी गवाही कराई गई।
अजगैन कोतवाली क्षेत्र के हरचंदपुर गांव निवासी हरदीप, गुलाबचंद्र, राजू व हरिकरन पर 20 जुलाई 2015 को पुलिस ने गैंगस्टर के तहत कार्रवाई की थी। मामला अपर जिला जज छह स्पेशल जज गैंगस्टर एक्ट की कोर्ट में चल रहा है। मामले में तत्कालीन थाना प्रभारी धर्मेंद्र सिंह रघुवंशी व विवेचक आरपी सिंह को न्यायालय में गवाही देने आना था। कोर्ट के कई बार समन भेजने पर भी दोनों गवाही देने नहीं पहुंचे थे। नाराज न्यायाधीश ने दोनों के खिलाफ गैर जमानती वारंट व सीआरपीसी की धारा 350 का नोटिस जारी किया था। मंगलवार को मामले की सुनवाई होनी हुई। दोनों गवाह न्यायालय में सुबह ही पहुंच गए। न्यायालय में गैर जमानती वारंट निरस्त करने का प्रार्थना पत्र दिया। न्यायाधीश ने भोजनावकाश के बाद प्रार्थना पत्र पर सुनवाई कर वारंट निरस्त किया। इसके बाद अभियोजन पक्ष के वकील हरीश अवस्थी, अलंकार द्विवेदी व विश्वास त्रिपाठी ने धर्मेंद्र सिंह व आरपी सिंह की गवाही कराई।

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उन्नाव। अजगैन कोतवाली क्षेत्र में सात साल पहले चार लोगों पर दर्ज गैंगस्टर के मामले में तत्कालीन थाना प्रभारी व विवेचक मंगलवार को कोर्ट में गवाही के लिए पेश हुए। कई बार समन जारी होने के बाद भी गवाही में न पहुंचने पर दोनों ने न्यायालय में अपना पक्ष रखा। इससे दोनों पर जारी गैर जमानती वारंट कोर्ट ने निरस्त करते हुए उनकी गवाही कराई गई।

अजगैन कोतवाली क्षेत्र के हरचंदपुर गांव निवासी हरदीप, गुलाबचंद्र, राजू व हरिकरन पर 20 जुलाई 2015 को पुलिस ने गैंगस्टर के तहत कार्रवाई की थी। मामला अपर जिला जज छह स्पेशल जज गैंगस्टर एक्ट की कोर्ट में चल रहा है। मामले में तत्कालीन थाना प्रभारी धर्मेंद्र सिंह रघुवंशी व विवेचक आरपी सिंह को न्यायालय में गवाही देने आना था। कोर्ट के कई बार समन भेजने पर भी दोनों गवाही देने नहीं पहुंचे थे। नाराज न्यायाधीश ने दोनों के खिलाफ गैर जमानती वारंट व सीआरपीसी की धारा 350 का नोटिस जारी किया था। मंगलवार को मामले की सुनवाई होनी हुई। दोनों गवाह न्यायालय में सुबह ही पहुंच गए। न्यायालय में गैर जमानती वारंट निरस्त करने का प्रार्थना पत्र दिया। न्यायाधीश ने भोजनावकाश के बाद प्रार्थना पत्र पर सुनवाई कर वारंट निरस्त किया। इसके बाद अभियोजन पक्ष के वकील हरीश अवस्थी, अलंकार द्विवेदी व विश्वास त्रिपाठी ने धर्मेंद्र सिंह व आरपी सिंह की गवाही कराई।

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