जमीन की रजिस्ट्री न कराने वालों को पहुंचे मनाने

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सोनिक। शाहजहांपुर से प्रधानमंत्री द्वारा गंगा एक्सप्रेसवे का शिलान्यास किया जा चुका है। वहीं से निर्माण कार्य भी शुरू किया गया है। हालांकि सदर तहसील के सोनिक गांव में दो ढाबा और एक फैक्टरी की जमीन की रजिस्ट्री नहीं हो पा रही है। कम मुआवजे को लेकर रजिस्ट्री न करने वाले काश्तकारों को मनाने गुरुवार को यूपीडा की टीम गांव पहुंची। टीम के अफसरों ने काश्तकारों की शिकायतों का जल्द निस्तारण कराने का आश्वासन दिया।
सरकार का महत्वाकांक्षी प्रोजेक्ट गंगा एक्सप्रेसवे मेरठ से प्रयागराज के बीच बनेगा। एक्सप्रेसवे जनपद की सभी छह तहसीलों के 76 गांवों से गुजरेगा। इसके लिए भूमि अधिग्रहण का काम लगभग पूरा हो चुके है, लेकिन सोनिक गांव में ढाबा और फैक्टरी की जमीन की रजिस्ट्री का पेंच फंसा हुआ है। दो ढाबा और फैक्टरी मालिकों ने मुआवजे कम होने को लेकर अभी तक रजिस्ट्री नहीं कराई है।
गुरुवार को यूपीडा के चेयरमैन विनोद कुमार श्रीवास्तव, एसडीएम बीडी वर्मा, एके भारती, अनामिका चौधरी, डॉ. रूपेश समेत सात सदस्यीय टीम सोनिक गांव पहुंची। फैक्टरी मालिक राजकुमार राठी ने बताया कि उन्होंने अपनी भूमि 2009 में कामर्शियल कराई थी। उसके हिसाब से मुआवजा नहीं मिल रहा है।
लेखपाल आशीष श्रीवास्तव ने बताया कि यह खतौनी में दर्ज नहीं है। फैक्टरी मालिक ने जब आदेश दिखाया तो चेयरमैन ने खतौनी में इसे दर्ज कराने का आदेश लेखपाल को दिया। शुक्ला ढाबा के संचालक बृज कुमार शुक्ला ने बताया कि उन्हें भी मुआवजा कम मिल रहा है। इसलिए रजिस्ट्री नहीं कर रहे हैं। बृज कुमार से भी चेयरमैन ने रजिस्ट्री कराने को कहा। आश्वासन दिया कि जो भी अधिकतम मुआवजा बनेगा उसे दिलाया जाएगा। चेयरमैन विनोद कुमार श्रीवास्तव ने बताया कि रुपऊ गांव में भी कुछ भूमि की रजिस्ट्री नहीं रुकी है। वहां किसानों को समझाया गया है। सभी ने जल्द रजिस्ट्री करने की बात कही है।
-जंक्शन: कानपुर-लखनऊ हाइवे पर सोनिक में पहला और नेवरना में बनेगा दूसरा जंक्शन
-गंगा एक्सप्रेसवे का निर्माण पूरा होने में लगेंगे दो साल, छह लेन का होगा गंगा एक्सप्रेसवे
-भविष्य में आठ लेन करने का है प्रस्ताव, एक्सप्रेसवे की ऊंचाई आठ से 10 मीटर
-एक्सप्रेसवे के दोनों तरफ के लेन की चौड़ाई लगभग 130 मीटर

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सोनिक। शाहजहांपुर से प्रधानमंत्री द्वारा गंगा एक्सप्रेसवे का शिलान्यास किया जा चुका है। वहीं से निर्माण कार्य भी शुरू किया गया है। हालांकि सदर तहसील के सोनिक गांव में दो ढाबा और एक फैक्टरी की जमीन की रजिस्ट्री नहीं हो पा रही है। कम मुआवजे को लेकर रजिस्ट्री न करने वाले काश्तकारों को मनाने गुरुवार को यूपीडा की टीम गांव पहुंची। टीम के अफसरों ने काश्तकारों की शिकायतों का जल्द निस्तारण कराने का आश्वासन दिया।

सरकार का महत्वाकांक्षी प्रोजेक्ट गंगा एक्सप्रेसवे मेरठ से प्रयागराज के बीच बनेगा। एक्सप्रेसवे जनपद की सभी छह तहसीलों के 76 गांवों से गुजरेगा। इसके लिए भूमि अधिग्रहण का काम लगभग पूरा हो चुके है, लेकिन सोनिक गांव में ढाबा और फैक्टरी की जमीन की रजिस्ट्री का पेंच फंसा हुआ है। दो ढाबा और फैक्टरी मालिकों ने मुआवजे कम होने को लेकर अभी तक रजिस्ट्री नहीं कराई है।

गुरुवार को यूपीडा के चेयरमैन विनोद कुमार श्रीवास्तव, एसडीएम बीडी वर्मा, एके भारती, अनामिका चौधरी, डॉ. रूपेश समेत सात सदस्यीय टीम सोनिक गांव पहुंची। फैक्टरी मालिक राजकुमार राठी ने बताया कि उन्होंने अपनी भूमि 2009 में कामर्शियल कराई थी। उसके हिसाब से मुआवजा नहीं मिल रहा है।

लेखपाल आशीष श्रीवास्तव ने बताया कि यह खतौनी में दर्ज नहीं है। फैक्टरी मालिक ने जब आदेश दिखाया तो चेयरमैन ने खतौनी में इसे दर्ज कराने का आदेश लेखपाल को दिया। शुक्ला ढाबा के संचालक बृज कुमार शुक्ला ने बताया कि उन्हें भी मुआवजा कम मिल रहा है। इसलिए रजिस्ट्री नहीं कर रहे हैं। बृज कुमार से भी चेयरमैन ने रजिस्ट्री कराने को कहा। आश्वासन दिया कि जो भी अधिकतम मुआवजा बनेगा उसे दिलाया जाएगा। चेयरमैन विनोद कुमार श्रीवास्तव ने बताया कि रुपऊ गांव में भी कुछ भूमि की रजिस्ट्री नहीं रुकी है। वहां किसानों को समझाया गया है। सभी ने जल्द रजिस्ट्री करने की बात कही है।

-जंक्शन: कानपुर-लखनऊ हाइवे पर सोनिक में पहला और नेवरना में बनेगा दूसरा जंक्शन

-गंगा एक्सप्रेसवे का निर्माण पूरा होने में लगेंगे दो साल, छह लेन का होगा गंगा एक्सप्रेसवे

-भविष्य में आठ लेन करने का है प्रस्ताव, एक्सप्रेसवे की ऊंचाई आठ से 10 मीटर

-एक्सप्रेसवे के दोनों तरफ के लेन की चौड़ाई लगभग 130 मीटर

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