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नई दिल्ली: मोटापे की समस्या हाल के दिनों में एक महामारी में बदल गई है, क्योंकि हर बीतते साल के साथ दुनिया में लगभग 47 लाख लोग मोटापे से उत्पन्न पुरानी बीमारियों के कारण मर रहे हैं. मोटापे के कारण मृत्यु दर भूख की मृत्यु दर को पार कर गई है, जो प्रति वर्ष 31 लाख है।
आज के डीएनए में ज़ी न्यूज़ के रोहित रंजन इस बात का विश्लेषण करते हैं कि कैसे मोटापा सामान्य स्वास्थ्य समस्या से महामारी में बदल गया है।
वर्ल्ड ओबेसिटी फेडरेशन के मुताबिक, साल 2023 तक दुनिया में करीब 200 करोड़ लोग मोटापे से जूझ रहे हैं और अगले 12 सालों में दुनिया की करीब आधी आबादी यानी 400 करोड़ लोग मोटापे से ग्रस्त हो जाएंगे।
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मोटापा कैसे बन गया ‘महामारी’?
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मोटापे की महामारी ने बच्चों को भी प्रभावित किया है क्योंकि दुनिया में लगभग 39 करोड़ बच्चे मोटे हैं और अगले बारह वर्षों में यह संख्या 78 करोड़ के आंकड़े को पार कर जाएगी। बच्चों में मोटापे का एक बड़ा कारण जंक फूड है जो उनके आहार का लगभग नियमित हिस्सा बन गया है।
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