यूपी चुनाव 2022 : पीएम मोदी बोले-परिवारवादियों ने तथागत की धरती पर महात्मा बुद्ध का किया अपमान

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सार

प्रधानमंत्री ने सपा का नाम लिए बगैर कहा कि घोर परिवार वादियों का एक वीडियो उन्होंने मंगलवार को देखा था। जिसमें परिवारवादी ने बुद्ध की इस धरती पर भगवान गौतम बुद्ध की प्रतिमा लेने से इनकार कर दिया। जबकि, चांदी का मुकुट देखा तो मुंह में पानी आ गया।
 

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गौसपुर टिकरी की जनसभा में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव के खिलाफ आक्रामक दिखे। उन्होंने गौतम बुद्ध व सरदार बल्लभ भाई पटेल का नाम लेकर दलितों, पिछड़ों को अपने पाले में करने का प्रयास किया।

 

 

सयांरा में बने रेलवे ओवरब्रिज का नाम भी उन्होंने महराजा बिजली पासी के नाम करने की बात कही। पीएम को बखूबी मालूम था कि जिले की तीनों विधानसभा सीटों पर अनुसूचित और पिछ़ड़ी जाति के मतदाता ही निर्णायक होते हैं। इसी वजह से उनका सारा फोकस किसान, गरीब कल्याण के अलावा इन्हीं जातियों को पाले में करने पर था।

 

प्रधानमंत्री ने सपा का नाम लिए बगैर कहा कि घोर परिवार वादियों का एक वीडियो उन्होंने मंगलवार को देखा था। जिसमें परिवारवादी ने बुद्ध की इस धरती पर भगवान गौतम बुद्ध की प्रतिमा लेने से इनकार कर दिया। जबकि, चांदी का मुकुट देखा तो मुंह में पानी आ गया।

गुजरात में सरदार पटेल को देखने विदेशों से आते हैं लोग

 

भगवान बुद्ध की प्रतिमा को स्वीकार नहीं करके परिवार वादियों ने दलित, पिछड़ों व गरीबों का अपमान किया है। सरदार बल्लभ भाई पटेल को लेकर कहा कि गुजरात में उनकी सबसे ऊंची प्रतिमा है। देश के अलावा विदेशों तक से लोग उन्हें नमन करने जाते हैं। लेकिन यह परिवारवादी उन्हें नमन तक करने नहीं पहुंचे।

 

 

अपना दल के संस्थापक डॉ. सोनेलाल पटेल से अपने रिश्तों का जिक्र करते हुए कहा कि जब वह गुजरात में मुख्यमंत्री थे तो डॉक्टर पटेल अक्सर आया करते थे। उन्होंने अपना पूरा जीवन गरीब, शोषित, पिछड़े और दलित वर्ग के कल्याण में लगा दिया। यहां आने पर उनकी यादें
जेहन में ताजी हो गईं। प्रधानमंत्री यहीं नहीं रुके, कहा कि सिराथू विधानसभा के सयांरा में जो रेलवे ओवरब्रिज बना उसका नाम उन्होंने महाराजा बिजली पासी के नाम पर रखा है। 

पीतल नगरी, प्रभाष गिरी व मां शीतला का किया जिक्र
प्रधानमंत्री ने कहा कि कौशाम्बी का पौराणिक महत्व है। इसी को देखते हुए इसे राम वनगमन पथ व बौद्ध सर्किट से जोड़ा गया। जिले की पीतल नगरी का जिक्र करते हुए कहा कि सारे कारखाने तबाह हो गए। पूर्व की सरकारों ने कुछ नहीं किया। वन डिस्ट्रिक्ट वन उत्पाद की बात करते हुए कहा कि यहां के केले को पहचान दिलाने के लिए यह किया गया है।

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पीएम ने शक्तिपीठ मां शीतला व प्रभाष गिरी पर्वत का भी जिक्र भी अपने संबोधन में किया। हालांकि, आचार संहिता लागू होने के कारण उन्होंने कोई घोषणा नहीं की, लेकिन इशारों में कहा कि जनता के कई सपने हैं। एक बार फिर से डबल इंजन की सरकार बना दो, आपके सारे सपने मेरे संकल्प होंगे।
 

 

घर जाकर सभी से मेरा प्रणाम कहना
पीएम मोदी ने जनसभा में मौजूद लोगों से कहा कि आप लोग घर जाए तो वहां मिलने वाले सभी लोगों से मेरा प्रणाम कहना। बोलना मोदी जी ने प्रणाम कहा है। साथ ही कहा कि मतदान के दिन लोगों को ज्यादा से ज्यादा की संख्या में पोलिंग बूथ ले जाकर वोट डलवाएं। इसके बाद उन्होंने जिले की तीन व चित्रकूट जनपद के दो विधान सभा प्रत्याशियों के साथ हाथ उठवाकर उनको जिताने की अपील की।

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गौसपुर टिकरी की जनसभा में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव के खिलाफ आक्रामक दिखे। उन्होंने गौतम बुद्ध व सरदार बल्लभ भाई पटेल का नाम लेकर दलितों, पिछड़ों को अपने पाले में करने का प्रयास किया।

 


 

सयांरा में बने रेलवे ओवरब्रिज का नाम भी उन्होंने महराजा बिजली पासी के नाम करने की बात कही। पीएम को बखूबी मालूम था कि जिले की तीनों विधानसभा सीटों पर अनुसूचित और पिछ़ड़ी जाति के मतदाता ही निर्णायक होते हैं। इसी वजह से उनका सारा फोकस किसान, गरीब कल्याण के अलावा इन्हीं जातियों को पाले में करने पर था।

 

प्रधानमंत्री ने सपा का नाम लिए बगैर कहा कि घोर परिवार वादियों का एक वीडियो उन्होंने मंगलवार को देखा था। जिसमें परिवारवादी ने बुद्ध की इस धरती पर भगवान गौतम बुद्ध की प्रतिमा लेने से इनकार कर दिया। जबकि, चांदी का मुकुट देखा तो मुंह में पानी आ गया।

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