आगरा में आयोजित ‘शू टेक आगरा’ का गुरुवार को समापन हो गया। दो दिवसीय कार्यक्रम में 12 राज्यों से कारोबारी आए। शू टेक में 250 करोड़ के कारोबार की आधारशिला रखी गई।
घरेलू जूता कारोबार में सुस्ती के बीच लगाए गए इफ्कोमा के दो दिवसीय फुटवियर कंपोनेंट फेयर शू टेक में 250 करोड़ रुपये के कारोबार की आधारशिला तैयार की गई। आगरा में दो दिन चले फेयर शू टेक में 7225 विजिटर आए, जिनमें देश के कोने कोने से आए ट्रेडर्स से कंपोनेंट निर्माताओं को खूब ऑर्डर मिले।
फेयर आयोजक इफ्कोमा ने जूता निर्माताओं के जबरदस्त रिस्पांस को देखते हुए तय किया है कि हर साल आगरा में 25 मार्च से 5 अप्रैल के बीच दो दिन का कंपोनेंट फेयर लगाया जाएगा। कंपोनेंट की क्वालिटी, नई डिजाइनों को लेकर आगरा के घरेलू जूता फैक्टरी संचालकों में उत्साह नजर आया।
शू टेक में क्या रहा खास
86 स्टॉल पर दिखे कंपोनेंट
4258 बिजनेस विजिटर पहुंचे
12 राज्यों से आए कारोबारी
84 जिलों के प्रतिनिधि आए
20 फीसदी वृद्धि का दिया लक्ष्य
आखिरी दिन फैक्टरी संचालक और ट्रेडर्स जुटे
एमएसएमई मंत्रालय, एफमेक के सहयोग से होटल मधु रिसोर्ट्स में आयोजित किए गए दो दिवसीय फुटवियर कंपोनेंट फेयर शू टेक में आखिरी दिन फैक्टरी संचालकों और ट्रेडर्स का तांता लगा रहा। पीयू, पीवीसी के साथ लैटेक्स के हल्के सोल, पसीना सोखने वाले कपड़ों के अपर, फफूंदी से बचाव के उत्पादों और मशीनरी को लेकर फैक्टरी संचालकों में ज्यादा रिस्पांस नजर आया।
एफमेक अध्यक्ष पूरन डावर ने फेयर के स्टॉल देखे और उन्हें तकनीकी रूप से बेहद अच्छा बताया। उन्होंने कहा कि सरकार ने फुटवियर के 400 बिलियर डॉलर के लक्ष्य को तय किया, पर उद्यमियों ने अपनी मेहनत से इसे 418 बिलियन डॉलर तक पहुंचा दिया। कंपोनेंट फेयर के जरिए 250 करोड़ रुपये के कारोबार की आधारशिला तय हो गई, जो अर्थ व्यवस्था को न केवल बढ़ाएगी, बल्कि घरेलू जूता इकाइयों को भी आगे बढ़ने का मौका देगी।
फेयर में इफ्कोमा के अध्यक्ष संजय गुप्ता, महासचिव दीपक मनचंदा, एफमेक उपाध्यक्ष गोपाल गुप्ता, कुलदीप सिंह कोहली, ओपिंदर सिंह लवली, राजेश मंगल, चन्दर दौलतानी, दीपक नैयर, प्रदीप वासन, अजय शर्मा आदि मौजूद रहे।
आयात नहीं, देश में लगें कंपोनेंट की फैक्टरी
इंडियन फुटवियर कंपोनेंट मैन्युफैक्चरर्स एसोसिएशन के निदेशक एसके वर्मा ने कहा कि स्पेन, इटली जैसे देश तकनीकी में आगे हैं। इनसे आयात की जगह इन देशों की कंपनियों के साथ करार करके भारत में ही कंपोनेंट की इकाइयां स्थापित की जाएं। इससे मेक इन इंडिया के जरिये देश में ही उत्पादन होगा तो फुटवियर कंपोनेंट आयात नहीं करना पड़ेगा और इसकी कीमतें भी कम हो जाएंगी, जिससे प्रतिस्पर्धा करना आसान हो जाएगा।
फुटवियर उद्योग कभी लेदर की कमी तो कभी लागत में बढ़ोतरी से प्रभावित रहा है। कंपोनेंट की कीमतें इन दिनों बढ़ी हैं। देश में ही उत्पादन से दुनिया के बाजार में प्रतिस्पर्धा बेहतर तरीके से कर पाएंगे। आगरा में इफ्कोमा के 35 सदस्य हैं जो कंपोनेंट का निर्माण कर रहे हैं। फुटवियर में 32 तरह के कंपोनेंट इस्तेमाल होते हैं।
दिखी अर्थव्यवस्था की बढ़ती रफ्तार
इफ्कोमा के कार्यकारी निदेशक शरदकांत वर्मा ने कहा कि शू टेक में बड़े स्तर पर कारोबारी अनुबंध हुए हैं, जिनके आधार पर कह सकते हैं कि शू टेक से 250 करोड़ रुपये के कारोबार की नींव रखी गई है। घरेलू बाजार में सुस्ती के माहौल के बीच अर्थव्यवस्था की बढ़ती रफ्तार की ओर यह इशारा है।
चीन की जगह लेने का ये सही वक्त
जूता निर्यातक जितेंद्र त्रिलोकानी ने कहा कि कोरोना के कारण चीन को लेकर दुनिया के बाजारों का रुख अच्छा नहीं है। हमारी क्वालिटी और परंपरागत कारीगरी से चीन की जगह लेने का यह सही वक्त है। चीन की साख गिर रही है। कंपोनेंट का उत्पादन यहां बढ़ जाए तो बड़ी मुश्किलें दूर हो जाएंगी।
विस्तार
घरेलू जूता कारोबार में सुस्ती के बीच लगाए गए इफ्कोमा के दो दिवसीय फुटवियर कंपोनेंट फेयर शू टेक में 250 करोड़ रुपये के कारोबार की आधारशिला तैयार की गई। आगरा में दो दिन चले फेयर शू टेक में 7225 विजिटर आए, जिनमें देश के कोने कोने से आए ट्रेडर्स से कंपोनेंट निर्माताओं को खूब ऑर्डर मिले।
फेयर आयोजक इफ्कोमा ने जूता निर्माताओं के जबरदस्त रिस्पांस को देखते हुए तय किया है कि हर साल आगरा में 25 मार्च से 5 अप्रैल के बीच दो दिन का कंपोनेंट फेयर लगाया जाएगा। कंपोनेंट की क्वालिटी, नई डिजाइनों को लेकर आगरा के घरेलू जूता फैक्टरी संचालकों में उत्साह नजर आया।
शू टेक में क्या रहा खास
86 स्टॉल पर दिखे कंपोनेंट
4258 बिजनेस विजिटर पहुंचे
12 राज्यों से आए कारोबारी
84 जिलों के प्रतिनिधि आए
20 फीसदी वृद्धि का दिया लक्ष्य