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उच्चतर शिक्षा सेवा आयोग, प्रयागराज ने सहायक प्रोफेसर भर्ती में ओएमआर सीट के मूल्यांकन में हुई गलती स्वीकार की है और इलाहाबाद हाईकोर्ट को आयोग के अधिवक्ता गगन मेहता ने बताया कि अर्थशास्त्र ही नहीं, अन्य विषयों के मूल्यांकन में भी गलतियां पाई गई हैं। आयोग पुनरीक्षित परिणाम घोषित करने से पहले परिणाम की गलतियों को दुरुस्त करेगा। जिसमें कुछ समय लगेगा।
आयोग के इस आश्वासन के बाद कोर्ट ने यह कहते हुए याचिका निस्तारित कर दी कि याची को सभी 74 सवालों के सही जवाब के अंक दिए जाएं। कोर्ट ने कहा है कि चयनित को ज्वाइनिंग कराई जाती है तो वह आयोग द्वारा घोषित होने वाले पुनरीक्षित अंतिम परिणाम पर निर्भर करेगी। यह आदेश न्यायमूर्ति सौमित्र दयाल सिंह ने महेंद्र कुमार वर्मा की याचिका पर दिया है।
याची की ओर से कहा गया कि 74 सही सवालों पर 155.79 अंक मिलने चाहिए थे। जबकि उसे 153.68 अंक ही दिए गए हैं। जिससे वह चयन सूची से बाहर हो गया है। आयोग के अधिवक्ता ने जानकारी के लिए समय मांगा था। दोबारा जब सुनवाई हुई तो कहा उत्तर पुस्तिका के मूल्यांकन में गलती हुई है। जिसे आयोग सुधार कर अंतिम परिणाम घोषित करेगा।
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