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संवाद न्यूज एजेंसी
सोनिक। दही औद्योगिक क्षेत्र में मुर्गी दाना बनाने वाली फैक्टरी में परिवार सहित रहकर काम करने वाले ट्रैक्टर चालक के चार साल के बेटे का शव दूसरे दिन चमड़े के बुरादे में मिला। पोस्टमार्टम रिपोर्ट में दम घुटने से मौत की पुष्टि हुई है। मृतक के परिजनों ने किसी पर कोई आरोप नहीं लगाया है। एसओ के अनुसार ट्रैक्टर ट्राली से बुरादा पलटते वक्त चालक पिता बेटे को देख नहीं पाया और बुरादे में दबकर उसकी मौत हो गई।
दही थानाक्षेत्र के औद्योगिक साइट नंबर एक में स्थित मुर्गी के लिए दाना बनाने वाली एनजी एम्वा फीड्स प्राइवेट लिमिटेड फैक्टरी है। इस फैक्टरी में अमेठी जिले के थाना जायस के मियां का पुरवा निवासी राजू सिंह परिवार के साथ रहकर ट्रैक्टर चलाने वा अन्य काम करता है। राजू का चार साल का बेटा रितेश शनिवार दोपहर को खेलते समय अचानक लापता हो गया था। काफी तलाश करने के बाद भी पता नहीं चला तो पिता राजू की सूचना पर दही थाना पुलिस ने गुमशुदगी दर्ज की थी। रविवार को फैक्टरी में श्रमिक दाना बनाने के लिए चमड़े का बुरादा उठा रहे थे तभी उसमें रितेश का शव मिला तो हड़कंप मच गया। इकलौते बेटे का शव देख पिता राजू और मां चंदा बेहोश होकर गिर पड़े।
एसओ अनुराग सिंह ने बताया कि पिता राजू ही फैक्टरी में ट्रैक्टर चालक है। हाइड्रोलिक ट्राली से बुरादा पलटते वक्त वह पीछे खड़े बेटे को देख नहीं पाया और पूरा बुरादा उसी पर पलट दिया। बच्चे की उसमें दबकर दम घुटने से मौत हो गई। परिजनों ने कोई आरोप नहीं लगाया है।
नाक और मुंह में भरा मिला बुरादा
पोस्टमार्टम रिपोर्ट में दम घुटने से बच्चे की मौत की पुष्टि हुई है। उसके नाक, कान और मुंह में बुरादा भरा मिला है। डॉक्टरों के अनुसार बुरादे में दबने के बाद बच्चे ने सांस लेने की कोशिश की तो बुरादा भरने से उसकी सांस नली चोक हुई और तुरंत ही मौत हो गई।
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