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फोटो-31 -राज्यपाल आनंदीबेन पटेल से चल वैजयंती ट्राफी लेते पान उत्पादक पाठकपुर के शिवकुमार। संवाद
पान की अच्छी प्रजातियों पर मिली चल वैजयंती ट्राफी
– लखनऊ में आयोजित प्रदर्शनी में जिले के किसानों ने जमाई धाक
– पान में छह और कुमड़े के लिए दो पुरस्कार मिले
संवाद न्यूज एजेंसी
उन्नाव। लखनऊ स्थित राजभवन में आयोजित फल, शाकभाजी एवं पुष्प प्रदर्शनी में जिले के किसानों ने भी भागीदारी की। पान, फल व सब्जी आदि के स्टॉल लगाए। जिले के पान व कुमड़े (पेठा बनाने में प्रयोग किया जाता है) को आठ पुरस्कार मिले। पान की अच्छी प्रजातियों पर चल वैजयंती ट्राफी मिली।
तीन दिवसीय प्रदर्शनी की शुरुआत चार मार्च को हुई थी। इसमें जिले के करीब 50 किसानों ने पान, सब्जी, कुमड़ा आदि के स्टॉल लगाए थे। जिन्हें काफी पसंद किया गया। इसमें पान की अच्छी प्रजाति कपूरी, बांग्ला, बनारसी, देशावरी आदि के उत्पादन में छह और कुमड़े में दो पुरस्कार प्राप्त हुए। वहीं पान की सबसे अधिक प्रजातियों को प्रदर्शनी में शामिल किया गया। इसी कारण जनपद को प्रतिष्ठित चल वैजयंती ट्राफी भी मिली।
इन किसानों को मिला पुरस्कार
जिला उद्यान अधिकारी सुनील कुमार ने बताया कि बेहटा भवानी के फूलचंद्र और पाठकपुर के शिवकुमार को पान में संयुक्त रूप से प्रथम, कांथा असोहा के बच्चू लाल और मदन हिलौली के रामकुमार को संयुक्त रूप से द्वितीय, हिलौली की रामदेवी व दीपक कुमार को तृतीय पुरस्कार दिया गया। सिकंदरपुर सरोसी के अरुण व बीघापुर पाली के रतन सिंह को कुमड़े में प्रथम व द्वितीय पुरस्कार मिला। जिला उद्यान अधिकारी के मुताबिक, प्रथम पुरस्कार के रूप में 1000, द्वितीय को 500 और तृतीय को 250 रुपये के साथ प्रशस्तिपत्र देकर सम्मानित किया गया है।
फोटो-31 -राज्यपाल आनंदीबेन पटेल से चल वैजयंती ट्राफी लेते पान उत्पादक पाठकपुर के शिवकुमार। संवाद
पान की अच्छी प्रजातियों पर मिली चल वैजयंती ट्राफी
– लखनऊ में आयोजित प्रदर्शनी में जिले के किसानों ने जमाई धाक
– पान में छह और कुमड़े के लिए दो पुरस्कार मिले
संवाद न्यूज एजेंसी
उन्नाव। लखनऊ स्थित राजभवन में आयोजित फल, शाकभाजी एवं पुष्प प्रदर्शनी में जिले के किसानों ने भी भागीदारी की। पान, फल व सब्जी आदि के स्टॉल लगाए। जिले के पान व कुमड़े (पेठा बनाने में प्रयोग किया जाता है) को आठ पुरस्कार मिले। पान की अच्छी प्रजातियों पर चल वैजयंती ट्राफी मिली।
तीन दिवसीय प्रदर्शनी की शुरुआत चार मार्च को हुई थी। इसमें जिले के करीब 50 किसानों ने पान, सब्जी, कुमड़ा आदि के स्टॉल लगाए थे। जिन्हें काफी पसंद किया गया। इसमें पान की अच्छी प्रजाति कपूरी, बांग्ला, बनारसी, देशावरी आदि के उत्पादन में छह और कुमड़े में दो पुरस्कार प्राप्त हुए। वहीं पान की सबसे अधिक प्रजातियों को प्रदर्शनी में शामिल किया गया। इसी कारण जनपद को प्रतिष्ठित चल वैजयंती ट्राफी भी मिली।
इन किसानों को मिला पुरस्कार
जिला उद्यान अधिकारी सुनील कुमार ने बताया कि बेहटा भवानी के फूलचंद्र और पाठकपुर के शिवकुमार को पान में संयुक्त रूप से प्रथम, कांथा असोहा के बच्चू लाल और मदन हिलौली के रामकुमार को संयुक्त रूप से द्वितीय, हिलौली की रामदेवी व दीपक कुमार को तृतीय पुरस्कार दिया गया। सिकंदरपुर सरोसी के अरुण व बीघापुर पाली के रतन सिंह को कुमड़े में प्रथम व द्वितीय पुरस्कार मिला। जिला उद्यान अधिकारी के मुताबिक, प्रथम पुरस्कार के रूप में 1000, द्वितीय को 500 और तृतीय को 250 रुपये के साथ प्रशस्तिपत्र देकर सम्मानित किया गया है।
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