[ad_1]
ख़बर सुनें
उन्नाव। 24 साल पहले दर्ज हुए बलवे के मुकदमे का फैसला शुक्रवार को आ गया। इसमें पुरवा विधानसभा क्षेत्र के पूर्व विधायक सहित 19 आरोपियों को बरी कर दिया गया है।
वर्ष 1998 में मौरावां के दारोगा गुरुदीप ग्रेवाल ने पुरवा के पूर्व विधायक उदयराज सहित 49 लोगों पर थाने में बलवा, मारपीट, गालीगलौज व सरकारी कार्य में बाधा डालने की धाराओं में रिपोर्ट दर्ज कराई थी। इस मुकदमे में पूर्व विधायक, उनके पिता सहित 19 लोगों की एक फाइल बनाकर मुकदमा एमपी एमएलए कोर्ट में सुनवाई के लिए भेज दिया गया था। सभी गवाहों के बयान पूरे होने के बाद शुक्रवार को निर्णय सुनाया गया। न्यायालय ने पूर्व विधायक उदयराज यादव, उनके पिता हरिशंकर व अन्य 17 आरोपियों को दोष मुक्त कर दिया। जबकि अन्य आरोपियों का मुकदमा अभी विचाराधीन है।
ये था मामला
17 फरवरी 1998 को मौरावां पुलिस ने रायबरेली कोर्ट द्वारा जारी किए एनबीडब्ल्यू पर अभियुक्त परशुराम को गिरफ्तार किया था। तत्कालीन थानाध्यक्ष का आरोप था कि विधायक उदयराज यादव, उनके पिता हरिशंकर सहित 50 से अधिक लोग थाने पहुंच गए थे। उन्होंने अभियुक्त परशुराम को थाने से छुड़ाने का प्रयास किया था। भीड़ ने थाने में जमकर उत्पात मचाया था। भीड़ को काबू करने के लिए कई थानों की फोर्स की मदद लेनी पड़ी थी। यही नहीं पुलिस पर भीड़ ने पथराव भी किया था। जिसमें कई अधिकारी सहित जवान घायल हो गए थे।
ये हुए दोषमुक्त
पूर्व विधायक पुरवा उदयराज यादव, हरिशंकर, वीरू, भोला, रामचंद्र, रमेश, कल्लू, इमरान, शाहिद, पुत्तन, इकबाल, हरिराम, कंधई, नियामत, बहादुर, चंद्रकिशोर, जागेश्वर, गुरुप्रसाद और रामनिहोरे।
उन्नाव। 24 साल पहले दर्ज हुए बलवे के मुकदमे का फैसला शुक्रवार को आ गया। इसमें पुरवा विधानसभा क्षेत्र के पूर्व विधायक सहित 19 आरोपियों को बरी कर दिया गया है।
वर्ष 1998 में मौरावां के दारोगा गुरुदीप ग्रेवाल ने पुरवा के पूर्व विधायक उदयराज सहित 49 लोगों पर थाने में बलवा, मारपीट, गालीगलौज व सरकारी कार्य में बाधा डालने की धाराओं में रिपोर्ट दर्ज कराई थी। इस मुकदमे में पूर्व विधायक, उनके पिता सहित 19 लोगों की एक फाइल बनाकर मुकदमा एमपी एमएलए कोर्ट में सुनवाई के लिए भेज दिया गया था। सभी गवाहों के बयान पूरे होने के बाद शुक्रवार को निर्णय सुनाया गया। न्यायालय ने पूर्व विधायक उदयराज यादव, उनके पिता हरिशंकर व अन्य 17 आरोपियों को दोष मुक्त कर दिया। जबकि अन्य आरोपियों का मुकदमा अभी विचाराधीन है।
ये था मामला
17 फरवरी 1998 को मौरावां पुलिस ने रायबरेली कोर्ट द्वारा जारी किए एनबीडब्ल्यू पर अभियुक्त परशुराम को गिरफ्तार किया था। तत्कालीन थानाध्यक्ष का आरोप था कि विधायक उदयराज यादव, उनके पिता हरिशंकर सहित 50 से अधिक लोग थाने पहुंच गए थे। उन्होंने अभियुक्त परशुराम को थाने से छुड़ाने का प्रयास किया था। भीड़ ने थाने में जमकर उत्पात मचाया था। भीड़ को काबू करने के लिए कई थानों की फोर्स की मदद लेनी पड़ी थी। यही नहीं पुलिस पर भीड़ ने पथराव भी किया था। जिसमें कई अधिकारी सहित जवान घायल हो गए थे।
ये हुए दोषमुक्त
पूर्व विधायक पुरवा उदयराज यादव, हरिशंकर, वीरू, भोला, रामचंद्र, रमेश, कल्लू, इमरान, शाहिद, पुत्तन, इकबाल, हरिराम, कंधई, नियामत, बहादुर, चंद्रकिशोर, जागेश्वर, गुरुप्रसाद और रामनिहोरे।
[ad_2]
Source link