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नरेश चाहर ने बताया कि बदमाश कोठी का मुख्य गेट खोलकर अंदर आए थे। उस समय पत्नी शकुंतला देवी घर की साफ-सफाई कर रही थीं। बेटा भविष्य बेड पर खेल रहा था। एक बदमाश ने चेहरे पर साफी बांध रखी थी, जबकि दूसरे ने मास्क पहन रखा था। दोनों ने टीशर्ट-जींस और जूते पहन रखे थे। उनकी उम्र भी 30 से 35 साल थी।
एक बदमाश ने आते ही बेटे भविष्य की गर्दन पर चाकू लगा दिया। उसे गोद में उठा लिया। यह देखकर शकुंतला चिल्लाईं। इस पर दूसरे बदमाश ने कहा कि शोर मचाया तो बच्चे का गला काट देंगे। इस पर शकुंतला घबरा गईं और चुप हो गईं। बदमाशों ने उनके हाथ-पैर रस्सी से बांध दिए। उनसे जेवरात और नकदी के बारे में पूछने लगे।
शकुंतला ने अलमारी में रखे होने के बारे में कहा। इस पर बदमाश अलमारी खोलने लगे। मगर, उसका ताला लगा था। चाबी शकुंतला के पास नहीं थी। बदमाश छैनी और हाथौड़ा लेकर आए थे। उन्होंने औजारों से अलमारी का लॉकर तोड़कर खोल दिया। इसके बाद जेवरात और रुपये निकाल लिए।
एसएसपी प्रभाकर चौधरी ने बताया कि घर में लूट की घटना हुई है। चौकी प्रभारी बसई छुट्टी पर हैं। चौकी पर दरोगा मोहम्मद अतीक मौजूद थे। उन्होंने अधिकारियों को घटना की जानकारी देना उचित नहीं समझा। मामले में मुकदमा दर्ज किया गया है। विवेचना की जा रही है। दरोगा ने लापरवाही की है। इसकी जांच कराकर कार्रवाई की जाएगी।
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