Gorakhpur News: पुलिस को चकमा देकर माफिया अजीत शाही कोर्ट में हाजिर, कर चुका है बड़े-बड़े कांड

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Mafia Ajit Shahi surrendered in court at Gorakhpur

माफिया अजीत शाही।
– फोटो : अमर उजाला।

विस्तार

पुलिस की पांच टीमों को चकमा देकर माफिया अजीत शाही बृहस्पतिवार को मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी अमित कुमार की अदालत में हाजिर हो गया। वर्ष 2020 में घर में घुसकर मारपीट व धमकी देने के मामले में जारी गैर जमानती वारंट में अजीत हाजिर हुआ, जहां से कोर्ट ने 14 दिन की न्यायिक अभिरक्षा में जेल भेज दिया। अब पुलिस शाहपुर थाने में दर्ज रंगदारी, धमकी के मामले में माफिया को रिमांड पर लेने की तैयारी में है। हालांकि, पुलिस का दावा है कि माफिया जमानत निरस्त कराकर कोर्ट में हाजिर हुआ है।

रेलवे कोऑपरेटिव बैंक में तीन मई को हुए विवाद के मामले में 12 मई को समझौता करने गए बेतियाहाता आवास विकास कालोनी निवासी माफिया अजीत शाही व अन्य लोगों पर बैंक के सहायक सचिव धीरेंद्र कुमार श्रीवास्तव ने रंगदारी, धमकी देने सहित अन्य धाराओं में शाहपुर थाने में केस दर्ज कराया है। कर्मचारियों ने कोआपरेटिव बैंक के अध्यक्ष अनिल सिंह विशेन को पूरी घटना का मास्टर माइंड बताया था और अनिल सिंह द्वारा ही अजीत शाही को बुलाने की बात कही गई थी।

एसएसपी ने अजीत शाही पर 25 हजार रुपये का इनाम भी घोषित किया था और पुलिस उसकी तलाश में जुटी थी। वहीं, अजीत पर 2020 में मैत्रीपुरम बिछिया कॉलोनी निवासी शंभू नाथ अग्रहरी के घर में घुस कर गाली देने और जान मारने की धमकी देने का केस दर्ज था। इस केस में अजीत शाही अदालत में हाजिर नहीं हो रहा था। इस मुकदमे में अभियुक्त के विरुद्ध वर्ष 2020 से गैर जमानतीय वारंट जारी चल रहा था। इसी का फायदा उठाकर माफिया कोर्ट में हाजिर हो गया।

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माफिया अजीत शाही का गैंग डी 4 वर्ष 2010 में पुलिस में रजिस्टर्ड

माफिया अजीत शाही का गैंग डी 4, वर्ष 2010 में पुलिस में रजिस्टर्ड है। माफिया के ऊपर पहला केस 1991 में मारपीट और धमकी का हुआ था। उसके बाद शहर के कैंट, खोराबार, शाहपुर, गुलरिहा, गोरखनाथ और खामपार देवरिया मिलाकर कुल कुल 33 मुकदमें दर्ज हैं। अंतिम मुकदमा वर्ष 2016 में खोराबार थाने में दर्ज हुआ था। इन मुकदमों में कई में माफिया अजीत शाही कोर्ट से बरी भी हो चुका है। पुलिस रिकार्ड में माफिया अजीत शाही को अब तक किसी मामले में पुलिस सजा नहीं दिला पाई है।

तीन साल से जारी था गैर जमानती वारंट, पुलिस को भनक तक नहीं

वर्ष 2020 में अजीत शाही के खिलाफ गैर जमानती वारंट (एनबीडब्लू) जारी हुआ था। लेकिन, तीन साल से इसे दबाया गया था। आश्चर्य की बात यह कि अजीत शाही को पकड़ने के लिए लगाई गई पांचों टीमों को इसकी भनक नहीं लगी। वारंट के बारे में किसी को कानोकान खबर नहीं लगी और माफिया बड़ी चालाकी से कोर्ट में हाजिर हो गया।

माफिया अजीत पुराने मामले में जमानत निरस्त कराकर कोर्ट में हाजिर हुआ है। कोर्ट ने माफिया को जेल भेजा है। शाहपुर में दर्ज रंगदारी केस में माफिया को रिमांड पर लेकर पुलिस पूछताछ करेगी। माफिया की पूरी कुंडली खंगाली जा रही है। -कृष्ण कुमार बिश्नोई, एसपी सिटी

 

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