Noida: हवाला कारोबार में सक्रिय 500 एजेंट, रडार पर 15 कॉरपोरेट कंपनियां, 200 करोड़ की धांधली के सबूत मिले

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हवाला मामले की जांच के लिए पहुंची आयकर की टीम

हवाला मामले की जांच के लिए पहुंची आयकर की टीम
– फोटो : अमर उजाला

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दिल्ली, नोएडा और लखनऊ के पांच ठिकानों पर दबिश में आयकर विभाग को हवाला कारोबार के बड़े नेटवर्क की जानकारी मिली है। बेंगलुरु, मुंबई और हैदराबाद सहित देश के अलग-अलग राज्यों में काली कमाई को सफेद बनाने वाले 500 से ज्यादा एजेंट सक्रिय होने की आशंका है। 

नोएडा में आठ एजेंटों के पकड़े जाने के बाद आयकर विभाग ने लगातार 48 घंटे का सर्च ऑपरेशन चलाया, जिसमें 2.58 करोड़ नकद बरामद किया जा चुका है। लखनऊ में पकड़े गए गिरोह के सरगना आदर्श श्रीवास्तव से पूछताछ के दौरान करीब अब तक करीब 200 करोड़ रुपये की धांधली के सबूत जुटाए गए हैं।

आयकर विभाग ने 30 अधिकारियों की स्पेशल टीम इंवेस्टीगेशन (एसआईटी) गठित कर दिल्ली के दो, नोएडा के दो और लखनऊ के एक ठिकाने पर शुक्रवार को दबिश दी थी। जांच में नकद मिलने वाली रकम को आरटीजीएस के जरिये डेढ़ गुना करने की स्कीम चलाकर हेराफेरी को अंजाम देने वाले बड़े नेटवर्क का पता लगा। 

बरामद लैपटॉप, मोबाइलों आदि की जांच में देशभर में सक्रिय 500 से ज्यादा एजेंटों का डाटा मिला है। लखनऊ में जो दस्तावेज सबूतों के तौर पर मिले हैं उनमें 200 करोड़ रुपये की हेराफेरी का पता चला है। दस्तावेज की जांच के बाद हवाला के माध्यम से काले धन को सफेद धन में तब्दील करने के खेल में शामिल 15 से अधिक कॉरपोरेट कंपनियों और ट्रस्टों की जानकारी जुटाई गई है। इनके 10 से अधिक बैंक खातों की जांच की तैयारी की जा रही है।
सेक्टर-55 से गिरफ्तार हवाला कारोबारियों के फरार साथी राजा मौर्य की तलाश जारी है। वहीं अब पुलिस गिरफ्तार आरोपियों की पुलिस कस्टडी रिमांड पर लेने की तैयारी कर रही है। पुलिस कस्टडी में पूछताछ के बाद इस मामले में अहम खुलासे हो सकते हैं। रविवार को पुलिस ने तीन अन्य लोगों से पूछताछ की, जिनसे दिल्ली में 96 लाख रुपये की बरामदगी हुई थी। 

हालांकि इन तीनों का इस केस से कोई संबंध नहीं निकला। पुलिस ने तीनों को नोटिस देने के बाद छोड़ दिया। नोएडा जोन के एडीसीपी आशुतोष द्विवेदी ने बताया कि इस मामले में फरार आरोपी की तलाश जारी है और पुलिस ने कोर्ट में आठ आरोपियों की पुलिस कस्टडी रिमांड के लिए अर्जी दी है।

अन्य एजेंसियां भी करेंगी जांच
पुलिस के साथ साथ आयकर विभाग की टीम मामले की जांच कर रही है। जानकारी के मुताबिक एक दो दिनों में इस मामले में कई और भी खुलासे हो सकते हैं। बताया जाता है कि पुलिस व अन्य एजेंसियां उन कंपनियों के बारे में पता लगा रही है जो सीएसआर फंड को लेकर फर्जीवाड़ा कर रहे थे। इसे देखते हुए अन्य एजेंसियां भी इस मामले की जांच में जुड़ सकती हैं।

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गारमेंट कंपनी की जांच कर लौटी टीम
नोएडा। सेक्टर-11 के डब्ल्यू ब्लॉक में स्थित एक गारमेंट कंपनी में लगातार तीसरे दिन भी आयकर विभाग की टीम जांच में जुटी रही। रविवार दोपहर को विभाग की दिल्ली टीम दस्तावेज, कंप्यूटर की हार्डडिस्क और लैपटॉप आदि जब्त कर ले गई। बड़े स्तर पर कर चोरी के संकेत मिलने पर कंपनी के चांदनी चौक स्थित दफ्तर के अलावा नोएडा के सेक्टर-11 सहित एनसीआर की अलग-अलग लोकेशन पर छापा मारा गया था।
नोएडा से जिस समय डील के लिए आए लोगों को पकड़ा गया, उनमें एक महिला भी शामिल थी। उसने अपने आप को आईएएस और आईपीएस बताकर आयकर विभाग और पुलिस पर दबाव बनाने की कोशिश की थी। हालांकि, थोड़ी ही देर की पूछताछ में सच सामने आ गया। पकड़े गए गिरोह से सीधा जुड़ाव नहीं होने की वजह से उसे छोड़ दिया गया।

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दिल्ली, नोएडा और लखनऊ के पांच ठिकानों पर दबिश में आयकर विभाग को हवाला कारोबार के बड़े नेटवर्क की जानकारी मिली है। बेंगलुरु, मुंबई और हैदराबाद सहित देश के अलग-अलग राज्यों में काली कमाई को सफेद बनाने वाले 500 से ज्यादा एजेंट सक्रिय होने की आशंका है। 

नोएडा में आठ एजेंटों के पकड़े जाने के बाद आयकर विभाग ने लगातार 48 घंटे का सर्च ऑपरेशन चलाया, जिसमें 2.58 करोड़ नकद बरामद किया जा चुका है। लखनऊ में पकड़े गए गिरोह के सरगना आदर्श श्रीवास्तव से पूछताछ के दौरान करीब अब तक करीब 200 करोड़ रुपये की धांधली के सबूत जुटाए गए हैं।

आयकर विभाग ने 30 अधिकारियों की स्पेशल टीम इंवेस्टीगेशन (एसआईटी) गठित कर दिल्ली के दो, नोएडा के दो और लखनऊ के एक ठिकाने पर शुक्रवार को दबिश दी थी। जांच में नकद मिलने वाली रकम को आरटीजीएस के जरिये डेढ़ गुना करने की स्कीम चलाकर हेराफेरी को अंजाम देने वाले बड़े नेटवर्क का पता लगा। 

बरामद लैपटॉप, मोबाइलों आदि की जांच में देशभर में सक्रिय 500 से ज्यादा एजेंटों का डाटा मिला है। लखनऊ में जो दस्तावेज सबूतों के तौर पर मिले हैं उनमें 200 करोड़ रुपये की हेराफेरी का पता चला है। दस्तावेज की जांच के बाद हवाला के माध्यम से काले धन को सफेद धन में तब्दील करने के खेल में शामिल 15 से अधिक कॉरपोरेट कंपनियों और ट्रस्टों की जानकारी जुटाई गई है। इनके 10 से अधिक बैंक खातों की जांच की तैयारी की जा रही है।



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