चंबल में बाढ़: खतरे के निशान से तीन मीटर ऊपर पहुंचा सकता है जलस्तर, 17 गांवों में भरा पानी, स्कूल बंद

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चंबल नदी में फिर बाढ़ आ गई है। इसकी चपेट में आगरा जिले के बाह-पिनाहट क्षेत्र के 17 गांव हैं, जिनका संपर्क तहसील मुख्यालय से टूट गया है। बुधवार सुबह तक चंबल खतरे के निशान से तीन मीटर अधिक हो सकती है। ऐसे में जिलाधिकारी प्रभु एन सिंह ने प्रभावित गांव के सभी स्कूल बंद करा दिए हैं। प्रशासन और पुलिस के अलावा स्वास्थ, पशुपालन, विद्युत, सिंचाई व अन्य विभागों की टीमों ने प्रभावित गांवों में राहत व बचाव कार्य के लिए डेरा डाल लिया है।

जिला प्रशासन की रिपोर्ट के अनुसार मंदसौर में चंबल नदी पर बने गांधी सागर बांध से मंगलवार सुबह 10 लाख क्यूसेक पानी छोड़ा गया है। जिसके बाद धौलपुर में चंबल ने रौद्र रूप धारण कर लिया। यहां चंबल खतरे के निशान से आठ मीटर ऊपर बह रही है। नदी का जलस्तर तेजी से बढ़ रहा है। इधर, पिनाहट में भी चंबल तटबंधों को तोड़कर खेत-खलिहानों में समा रही है। 

पिनाहट में पिछले 24 घंटे में चंबल जलस्तर 1.5 फीट प्रति घंटा बढ़ रहा है। सोमवार से मंगलवार शाम तक 12 मीटर जलस्तर में वृद्धि हुई है। सुबह 11 बजे पिनाहट में चंबल 127 मीटर पहुंच गई, जो शाम छह बजे चेतावनी स्तर 127.90 मीटर को पार कर गई। बुधवार सुबह तक इसके 133 मीटर होने का अनुमान है। लाल निशान 130 मीटर पर है। ऐसे में बाह और पिनाहट के 38 गांवों में बाढ़ के आसार हैं।

निकाले जा रहे लोग

बाह व पिनाहट के 17 गांव में मंगलवार शाम तक पानी घुस चुका है। रास्ते जलमग्न हैं। खेत-खलिहान डूब गए हैं। स्कूलों में पानी भरने लगा है। बाढ़ प्रभावित गांवों से लोगों को निकाल कर सुरक्षित व ऊंचाई वाले स्थानों पर पहुंचाया जा रहा है। डीएम प्रभु एन सिंह ने बताया कि प्रधानों के माध्यम से गांव-गांव मुनादी कराई जा रही है। स्कूल बंद कर दिए हैं। टीमों ने गांवों में डेरा डाल लिया है। बाह तहसील में कंट्रोल रूम खोला है।

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इन गांवों में बाढ़ का खतरा

बाह के 10 गांवों मऊ की मढै़या, गोहरा, रानी पुरा, भटपुरा, गुढ़ा, झरना पुरा, डगोरा, कछियारा, रेहा, उमरैठापुरा का तहसील मुख्यालय से संपर्क कट गया है। चंबल नहर के पंप हाउस को बचाने के लिए दीवार बनाई गई है। वहीं, पुरा शिवलाल, पुरा डाल, पुरा भगवान, धांधू पुरा, बीच का पुरा, कएडी, जगतूपुरा, कुंवर खेड़ा, बासौनी, जेबरा, कमौनी, उदयपुर खुर्द, खेड़ा राठौर, महुआशाला, नंदगवां, बाघराज पुरा, कोरथ आदि 17 गांवों में पानी भर गया है। एसडीएम रतन वर्मा ने बताया कि मंसुखपुरा, पिनाहट, उमरैठा, बासौनी, खेड़ा राठौर, नंदगवां, सिमराई, पुरा भगवान सहित 38 गांव में बाढ़ का खतरा है।

चार गांवों की बिजली काटी 

चंबल नदी में आए उफान के पानी में बिजली के पोल भी डूब गए हैं। एसडीओ जैतपुर मनमोहन शर्मा ने बताया कि एहतियातन देवपुरा फीडर के गोहरा, रानीपुरा, भटपुरा तथा अभयपुरा फीडर के गुढ़ा गांव की बिजली काट दी गई है। अंधेरे में डूबे इन गांवों के लोगों को वन्यजीवों के हमले का डर सता रहा है। ग्रामीणों ने बताया कि बाढ़ के पानी के साथ घड़ियाल, मगरमच्छ, सांप आदि गली और घरों तक आ जाते हैं। बाढ़ के पानी से ग्रामीणों को रात में दीवार व छत गिरने की चिंता भी सता रही है।

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