राज्यमंत्री के हत्यारोपी बेटों ने सरकारी जमीन पर किया कब्जा

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उन्नाव। प्रदेश के राज्यमंत्री रहे दिवंगत फतेह बहादुर सिंह के बेटों को दलित युवती की हत्या के मामले में जेल भेजने के बाद प्रशासन की नजर उनके आश्रम प टिक गई है। सरकारी जमीन पर कब्जे की जांच के लिए राजस्व टीम की टीम ने गुरुवार को पूरे आश्रम की जमीन की नापजोख की। 11 बीघा में फैले आश्रम में कई बीघा सरकारी जमीन होने की पुष्टि हुई है। जमीन आश्रम के नाम नहीं, बल्कि हत्यारोपियों के नाम सरकारी अभिलेखों में दर्ज पाई गई है।
उत्तर प्रदेश कोऑपरेटिव बैंक के चेयरमैन रहे दिवंगत फतेह बहादुर सिंह के बेटे रजोल सिंह ने आठ दिसंबर 2021 को दोस्त सूरज के साथ मिलकर शहर की एक कालोनी में रहने वाली युवती का अपहरण करने के बाद हत्या कर दी थी। मृतका की मां के लखनऊ में आत्महत्या का प्रयास के बाद पुलिस ने 10 फरवरी 2022 को युवती का शव राज्यमंत्री के दिव्यानंद आश्रम परिसर में एक गड्ढे से बरामद किया था।
घटना में पुलिस रजोल उसके बड़े भाई पूर्व ब्लॉक प्रमुख अशोक सिंह समेत पांच लोगों को जेल भेज चुकी है।
आश्रम की आड़ में कई बीघा सरकारी जमीन पर कब्जे की शिकायत पर तहसीलदार अतुल कुमार, लेखपाल कुलदीप कुमार ने राजस्व विभाग के अधिकारियों की मौजूदगी में गुरुवार को वहां की जमीन की नापजोख की। दिव्यानंद आश्रम की जमीन आश्रम के नाम दर्ज नहीं है।
सरकारी अभिलेखों में जमीन हत्यारोपी भाइयों के नाम दर्ज पाई गई है। आश्रम के पास स्थित सरकारी तालाब की करीब चार बीघा जमीन पर कब्जा होने की बात सामने आई है। तहसीलदार ने बताया कि अभी जांच पूरी नहीं हुई है। शुक्रवार को रिपोर्ट उच्चाधिकारियों को दी जाएगी।

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उन्नाव। प्रदेश के राज्यमंत्री रहे दिवंगत फतेह बहादुर सिंह के बेटों को दलित युवती की हत्या के मामले में जेल भेजने के बाद प्रशासन की नजर उनके आश्रम प टिक गई है। सरकारी जमीन पर कब्जे की जांच के लिए राजस्व टीम की टीम ने गुरुवार को पूरे आश्रम की जमीन की नापजोख की। 11 बीघा में फैले आश्रम में कई बीघा सरकारी जमीन होने की पुष्टि हुई है। जमीन आश्रम के नाम नहीं, बल्कि हत्यारोपियों के नाम सरकारी अभिलेखों में दर्ज पाई गई है।

उत्तर प्रदेश कोऑपरेटिव बैंक के चेयरमैन रहे दिवंगत फतेह बहादुर सिंह के बेटे रजोल सिंह ने आठ दिसंबर 2021 को दोस्त सूरज के साथ मिलकर शहर की एक कालोनी में रहने वाली युवती का अपहरण करने के बाद हत्या कर दी थी। मृतका की मां के लखनऊ में आत्महत्या का प्रयास के बाद पुलिस ने 10 फरवरी 2022 को युवती का शव राज्यमंत्री के दिव्यानंद आश्रम परिसर में एक गड्ढे से बरामद किया था।

घटना में पुलिस रजोल उसके बड़े भाई पूर्व ब्लॉक प्रमुख अशोक सिंह समेत पांच लोगों को जेल भेज चुकी है।

आश्रम की आड़ में कई बीघा सरकारी जमीन पर कब्जे की शिकायत पर तहसीलदार अतुल कुमार, लेखपाल कुलदीप कुमार ने राजस्व विभाग के अधिकारियों की मौजूदगी में गुरुवार को वहां की जमीन की नापजोख की। दिव्यानंद आश्रम की जमीन आश्रम के नाम दर्ज नहीं है।

सरकारी अभिलेखों में जमीन हत्यारोपी भाइयों के नाम दर्ज पाई गई है। आश्रम के पास स्थित सरकारी तालाब की करीब चार बीघा जमीन पर कब्जा होने की बात सामने आई है। तहसीलदार ने बताया कि अभी जांच पूरी नहीं हुई है। शुक्रवार को रिपोर्ट उच्चाधिकारियों को दी जाएगी।

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