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सैम्पल को सील करते अधिकारी
– फोटो : अमर उजाला
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अलीगढ़ जिले में खाद्य पदार्थों में हो रही मिलावटखोरी की रोकथाम को खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन विभाग लगातार अभियान छेड़े हुए है। इसके बाद भी खाद्य पदार्थों में मिलावट थम नहीं रही है। खाद्य सुरक्षा से जुड़े 14 मिलावटखोरों पर एडीएम सिटी मीनू राणा के न्यायालय ने 14.90 लाख का जुर्माना ठोका गया है। इसमें टप्पल क्षेत्र के कस्बा जट्टारी में तेल में मिलावट होने पर स्पेलर संचालक पर तीन लाख, पेस्ट्री एवं खोया प्रतिष्ठान संचालक पर दो-दो लाख का जुर्माना शामिल है।
एडीएम सिटी मीनू राणा ने बताया कि फरवरी माह में खाद्य सुरक्षा से जुड़े 14 मुकदमे निस्तारित किए गए हैं। जिनमें न्यायालय द्वारा मिलावटखोरों पर 14.90 लाख का जुर्माना किया गया। मुनेश अग्रवाल निवासी आधीपट्टी, जट्टारी, थाना टप्पल पर तेल में मिलावट पाए जाने पर तीन लाख, पेस्ट्री निर्मांणशाला के मालिक मनोज कुमार निवासी सुभाष रोड, कोयले वाली गली, रेलवे रोड पर दो लाख रुपये, थान सिंह निवासी, निनामई, थाना सासनीगेट पर खोया में मिलावट किए जाने पर दो लाख का जुर्माना किया गया है।
अनिल कुमार वार्ष्णेय निवासी निरंजनपुरी के दूध संग्रह केंद्र पर मिश्रित दूध मिलने पर 1.50 लाख, हरिविलास शर्मा निवासी देवी नगला का दही के नमूने, चंद्र प्रकाश निवासी खेड़िया बहादुरगढ़ी पर मिश्रित दूध मिलने पर डेढ़-डेढ़ लाख रुपये, श्रमेश निवासी हरदासपुर, लोधा को खोया का नमूना अपमिश्रित मिलने पर एक लाख रुपये का जुर्माना लगाया है। बंटी निवासी लोधा झिझरका, अतरौली को मिठाई पर 50 हजार, हरी नारायन निवासी लोधा झिझरका, अतरौली पर खोया मिठाई पर 50 हजार रुपये का जुर्माना लगाया है। प्रेम कुमार शर्मा निवासी लोधा को रसगुल्ला, दीपक कुमार निवासी रामनगर कॉलोनी, बन्नादेवी को नियम विरूद्ध पेड़ा बादाम बनाने पर 50 हजार रुपये का जुर्माना ठोका है।
शिवकुमार शर्मा निवासी दबथला, जवां एवं दिनेश कुमार निवासी पड़की, गोधा पर 25-25 हजार रुपये, योगेश कुमार निवासी रघुवीरपुरी को बिना लाइसेंस फास्ट फूड की बिक्री करने पर 20 हजार, हिमांशु अग्रवाल निवासी प्रेमनगर कॉलोनी, गांधीपार्क हल्दी पाउडर खुला बेचने पर 20 हजार रुपये का जुर्माना लगाया है।
अब अलीगढ़ में ही होगी नमूनों की जांच
खाद्य पदार्थ में किसी भी प्रकार की मिलावट या उसके अधोमानक होने की जांच अब अलीगढ़ में ही हो सकेगी। अलीगढ़-पलवल हाईवे पर लोधा-जिरौली रोड पर 22.50 करोड़ की लागत से मंडल स्तरीय आधुनिक प्रयोगशाला का निर्माण कराया जा रहा है। जहां संदिग्ध नमूनों की जांच एक सप्ताह के अंदर हो जाएगी।
इससे मिलावट मिलने पर नोटिस के साथ सजा की कार्रवाई तेजी से हो सकेगी। अभी तक नमूनों को जांच के लिए आगरा व लखनऊ स्थित प्रयोगशाला में भेजा जाता है। जिससे रिपोर्ट आने में काफी समय लगता है। जांच रिपोर्ट देर से मिलने पर कार्रवाई में विलंब होता है। इस प्रयोगशाला से मंडल के अलीगढ़, एटा, कासगंज एवं हाथरस जिले में जांच में तेजी आएगी।
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