गरीब परिवारों के बच्चों को निशुल्क कंप्यूटर प्रशिक्षण दे रहे युवा

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हसनगंज। इंजीनियरिंग डिग्रीधारक दो युवाओं ने क्षेत्र के जरूरतमंद बच्चों को कंप्यूटर सिखाने का बीड़ा उठाया है। युवाओं ने चंदा करके पुराने कंप्यूटर खरीदे और निशुल्क प्रशिक्षण देना शुरू कर दिया।
हसनगंज ब्लाक क्षेत्र के बेनीखेड़ा निवासी कर्मवीर मौर्य व रामपुर अखौली के अभय यादव ने इंजीनियरिंग की हैं। दोनों लखनऊ में पार्टटाइम जॉब करते हैं। कर्मवीर और अभय ने बताया कि लखनऊ में जब वह पढ़ाई कर रहे थे तभी से उनके मन में कुछ अलग करने की चाहत थी। गांव से जुड़े होने के कारण अक्सर यहां आते थे। इस दौरान देखा कि काफी संख्या में ग्रामीण क्षेत्र में ऐसे बच्चे भी हैं जो कंप्यूटर के बारे में कुछ नहीं जानते। ये बच्चे कंप्यूटर सीखना तो चाहते हैं लेकिन आर्थिक स्थिति ठीक न होने से प्रशिक्षण नहीं ले पा रहे।
ऐसे बच्चों को कंप्यूटर में दक्ष करने का विचार आया। फिर दोनों ने चंदा करके एक लाख रुपये जुटाए और पांच पुराने कंप्यूटर खरीदे। फरहदपुर गांव में प्रशिक्षण देना शुरू किया। वर्तमान में नवई, धोपा, नई सराय, आदमपुर बरेठी, फरहदपुर, चंदौली बुजुर्ग, जमोरिहा व न्योतनी आदि गांवों के 30 छात्र-छात्राएं निशुल्क कंप्यूटर सीख रहे हैं। कर्मवीर और अभय दिन में अलग-अलग चार शिफ्ट में क्लास देकर कंप्यूटर का ज्ञान दे रहे हैं। कर्मवीर ने बताया कि आज के दौर कंप्यूटर ज्ञान के बिना सब बेकार है। ग्रामीण क्षेत्र के बच्चे भी आगे बढ़ाने का प्रयास कर रहे हैं।

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हसनगंज। इंजीनियरिंग डिग्रीधारक दो युवाओं ने क्षेत्र के जरूरतमंद बच्चों को कंप्यूटर सिखाने का बीड़ा उठाया है। युवाओं ने चंदा करके पुराने कंप्यूटर खरीदे और निशुल्क प्रशिक्षण देना शुरू कर दिया।

हसनगंज ब्लाक क्षेत्र के बेनीखेड़ा निवासी कर्मवीर मौर्य व रामपुर अखौली के अभय यादव ने इंजीनियरिंग की हैं। दोनों लखनऊ में पार्टटाइम जॉब करते हैं। कर्मवीर और अभय ने बताया कि लखनऊ में जब वह पढ़ाई कर रहे थे तभी से उनके मन में कुछ अलग करने की चाहत थी। गांव से जुड़े होने के कारण अक्सर यहां आते थे। इस दौरान देखा कि काफी संख्या में ग्रामीण क्षेत्र में ऐसे बच्चे भी हैं जो कंप्यूटर के बारे में कुछ नहीं जानते। ये बच्चे कंप्यूटर सीखना तो चाहते हैं लेकिन आर्थिक स्थिति ठीक न होने से प्रशिक्षण नहीं ले पा रहे।

ऐसे बच्चों को कंप्यूटर में दक्ष करने का विचार आया। फिर दोनों ने चंदा करके एक लाख रुपये जुटाए और पांच पुराने कंप्यूटर खरीदे। फरहदपुर गांव में प्रशिक्षण देना शुरू किया। वर्तमान में नवई, धोपा, नई सराय, आदमपुर बरेठी, फरहदपुर, चंदौली बुजुर्ग, जमोरिहा व न्योतनी आदि गांवों के 30 छात्र-छात्राएं निशुल्क कंप्यूटर सीख रहे हैं। कर्मवीर और अभय दिन में अलग-अलग चार शिफ्ट में क्लास देकर कंप्यूटर का ज्ञान दे रहे हैं। कर्मवीर ने बताया कि आज के दौर कंप्यूटर ज्ञान के बिना सब बेकार है। ग्रामीण क्षेत्र के बच्चे भी आगे बढ़ाने का प्रयास कर रहे हैं।

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