ट्रक में कार की नंबर प्लेट लगा तीन लाख की सीमेंट पार

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उन्नाव। सीमेंट कारोबारी को झांसे में लेकर जालसाजों ने करीब तीन लाख की सीमेंट पार कर दी। कई दिनों तक पीड़ित थाने के चक्कर लगाता रहा। लखनऊ से फोन आने पर एसपी ने स्वॉट टीम को खुलासे की जिम्मेदारी दी। जांच के दौरान स्वॉट टीम ने रायबरेली व मध्यप्रदेश से आरोपियों को हिरासत में लिया है।
कानपुर निवासी सीमेंट कारोबारी पीयूष जायसवाल ने एक कंपनी के जरिये 800 बोरी सीमेंट बुक की थी। 24 अप्रैल रविवार को मालगाड़ी से सीमेंट की रैक सोनिक स्टेशन पर उतरी। कंपनी के डीलर ने पीयूष से 800 बोरी लदवाने के लिए कहा। माल लदवाने के लिए पीयूष भाड़े पर ट्रक की तलाश करने लगा। इसी दौरान एक ट्रक चालक समेत तीन लोगों ने सीमेंट ले जाने पर हामी भरी। सीमेंट लोड होने के बाद भरोसा दिलाने के लिए ट्रक की जाली आरसी दी। आरसी मिलने के बाद पीयूष ने ट्रक का रजिस्ट्रेशन नंबर व चालक का मोबाइल नंबर नोट किया और कानपुर माल पहुंचाने की बात कहकर वहां से चला गया।
सुबह तक ट्रक न पहुंचने पर पीयूष ने चालक को फोन मिलाया तो बंद मिला। सीमेंट चोरी किए जाने के अंदेशे पर वह अगले दिन दही थाना पहुंचा और पुलिस को आपबीती सुनाई। पीड़ित के अनुसार पुलिस ने तहरीर तो ली पर जांच की बात कह चलता कर दिया। वह कई दिनों तक थाने के चक्कर लगाता रहा। इसी बीच उसने लखनऊ के पुलिस अधिकारियों से संपर्क किया। लखनऊ से फोन आने पर एसपी दिनेश त्रिपाठी ने स्वॉट टीम को जांच सौंपी। एक मई के बाद शुरू हुई जांच में स्वॉट टीम आरोपियों तक पहुंच गई। पुलिस सूत्रों के अनुसार स्वॉट टीम ने रायबरेली से दो व मध्यप्रदेश से एक युवक को हिरासत में लेकर 200 बोरी सीमेंट भी बरामद कर ली है। सीमेंट पार किए जाने में कारोबारी के साथ पूर्व में काम करने वाला एक युवक भी शामिल है। वहीं जिस ट्रक में सीमेंट लोड की गई थी उसमें स्विफ्ट कार की नंबर प्लेट लगाई गई थी। चर्चा यहां तक है कि सीमेंट चोरी में जिस ट्रक का प्रयोग किया गया था उसकी किस्त जमा नहीं थी। मध्यप्रदेश की फाइनेंस कंपनी ने किस्त जमा न होने से ट्रक को जब्त कर लिया है।
मोबाइल के जरिये आरोपियों तक पहुंची स्वॉट
घटना का खुलासा करने के लिए स्वॉट ने चालक समेत अन्य लोगों के मोबाइल नंबर की कॉल डिटेल व लोकेशन खंगाली। आरोपियों ने घटना में जिस मोबाइल का प्रयोग किया था, उसका सिम तो निकाल दिया पर उसी मोबाइल का प्रयोग करते रहे। इसी मोबाइल की लोकेशन के जरिए स्वॉट उन तक पहुंच गई।
मध्यप्रदेश से आरोपी को लेकर आई पुलिस
जालसाजी कर लाखों की सीमेंट चोरी में एक आरोपी मध्यप्रदेश का है, जो कई सालों से रायबरेली में रहता था। घटना को अंजाम देने के बाद वह मध्यप्रदेश भाग गया था। उसे पकड़ने के लिए पुलिस मध्यप्रदेश पहुंची और हिरासत में लेकर शहर आ गई। पुलिस को शक है कि आरोपियों ने इससे पहले भी अन्य घटनाओं को अंजाम दिया है। सभी से पूछताछ की जा रही है।

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उन्नाव। सीमेंट कारोबारी को झांसे में लेकर जालसाजों ने करीब तीन लाख की सीमेंट पार कर दी। कई दिनों तक पीड़ित थाने के चक्कर लगाता रहा। लखनऊ से फोन आने पर एसपी ने स्वॉट टीम को खुलासे की जिम्मेदारी दी। जांच के दौरान स्वॉट टीम ने रायबरेली व मध्यप्रदेश से आरोपियों को हिरासत में लिया है।

कानपुर निवासी सीमेंट कारोबारी पीयूष जायसवाल ने एक कंपनी के जरिये 800 बोरी सीमेंट बुक की थी। 24 अप्रैल रविवार को मालगाड़ी से सीमेंट की रैक सोनिक स्टेशन पर उतरी। कंपनी के डीलर ने पीयूष से 800 बोरी लदवाने के लिए कहा। माल लदवाने के लिए पीयूष भाड़े पर ट्रक की तलाश करने लगा। इसी दौरान एक ट्रक चालक समेत तीन लोगों ने सीमेंट ले जाने पर हामी भरी। सीमेंट लोड होने के बाद भरोसा दिलाने के लिए ट्रक की जाली आरसी दी। आरसी मिलने के बाद पीयूष ने ट्रक का रजिस्ट्रेशन नंबर व चालक का मोबाइल नंबर नोट किया और कानपुर माल पहुंचाने की बात कहकर वहां से चला गया।

सुबह तक ट्रक न पहुंचने पर पीयूष ने चालक को फोन मिलाया तो बंद मिला। सीमेंट चोरी किए जाने के अंदेशे पर वह अगले दिन दही थाना पहुंचा और पुलिस को आपबीती सुनाई। पीड़ित के अनुसार पुलिस ने तहरीर तो ली पर जांच की बात कह चलता कर दिया। वह कई दिनों तक थाने के चक्कर लगाता रहा। इसी बीच उसने लखनऊ के पुलिस अधिकारियों से संपर्क किया। लखनऊ से फोन आने पर एसपी दिनेश त्रिपाठी ने स्वॉट टीम को जांच सौंपी। एक मई के बाद शुरू हुई जांच में स्वॉट टीम आरोपियों तक पहुंच गई। पुलिस सूत्रों के अनुसार स्वॉट टीम ने रायबरेली से दो व मध्यप्रदेश से एक युवक को हिरासत में लेकर 200 बोरी सीमेंट भी बरामद कर ली है। सीमेंट पार किए जाने में कारोबारी के साथ पूर्व में काम करने वाला एक युवक भी शामिल है। वहीं जिस ट्रक में सीमेंट लोड की गई थी उसमें स्विफ्ट कार की नंबर प्लेट लगाई गई थी। चर्चा यहां तक है कि सीमेंट चोरी में जिस ट्रक का प्रयोग किया गया था उसकी किस्त जमा नहीं थी। मध्यप्रदेश की फाइनेंस कंपनी ने किस्त जमा न होने से ट्रक को जब्त कर लिया है।

मोबाइल के जरिये आरोपियों तक पहुंची स्वॉट

घटना का खुलासा करने के लिए स्वॉट ने चालक समेत अन्य लोगों के मोबाइल नंबर की कॉल डिटेल व लोकेशन खंगाली। आरोपियों ने घटना में जिस मोबाइल का प्रयोग किया था, उसका सिम तो निकाल दिया पर उसी मोबाइल का प्रयोग करते रहे। इसी मोबाइल की लोकेशन के जरिए स्वॉट उन तक पहुंच गई।

मध्यप्रदेश से आरोपी को लेकर आई पुलिस

जालसाजी कर लाखों की सीमेंट चोरी में एक आरोपी मध्यप्रदेश का है, जो कई सालों से रायबरेली में रहता था। घटना को अंजाम देने के बाद वह मध्यप्रदेश भाग गया था। उसे पकड़ने के लिए पुलिस मध्यप्रदेश पहुंची और हिरासत में लेकर शहर आ गई। पुलिस को शक है कि आरोपियों ने इससे पहले भी अन्य घटनाओं को अंजाम दिया है। सभी से पूछताछ की जा रही है।

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