दिल्ली। राष्ट्रीय राजधानी में पहले ‘क्लाउड-सीडिंग’ (कृत्रिम बारिश) परीक्षण के लिए इस्तेमाल किये जाने वाला विमान कानपुर से दिल्ली के लिए रवाना हो गया है और उत्तर-पश्चिम दिल्ली के बुराड़ी में यह परीक्षण किया जा सकता है। एक अधिकारी ने मंगलवार को यह जानकारी दी। अधिकारी के अनुसार, यदि नमी का स्तर और बादल की उपलब्धता समेत मौसम की स्थिति अनुकूल रहती है तो परीक्षण मंगलवार को किया जाएगा।
विमान बुराड़ी के पास उत्तर-पश्चिम क्षेत्र में सीधे जाकर परीक्षण करेगा जिसके बाद इसे मेरठ हवाई अड्डे पर खड़ा किया जाएगा। अधिकारी ने यह भी कहा कि यदि मौसम की स्थिति कृत्रिम बारिश के लिए अनुकूल नहीं होती है तो विमान सीधा मेरठ जाएगा और वहां यह तब तक रहेगा जब तक कि मौसम इस परीक्षण के लिए उपयुक्त न हो जाए। राजधानी में वायु प्रदूषण से निपटने के लिए कृत्रिम वर्षा कराने के उद्देश्य से किया जाने वाला यह परीक्षण, सर्दियों में बिगड़ती वायु गुणवत्ता में सुधार करने की दिल्ली सरकार की व्यापक रणनीति का हिस्सा है।
अधिकारियों के मुताबिक कृत्रिम बारिश के लिए हवा में रसायनों का छिड़काव करने के लिए विमान ने कानपुर से दिल्ली के लिए उड़ान भरी और यह परीक्षण किया गया। उन्होंने बताया कि राष्ट्रीय राजधानी में वायु प्रदूषण से निपटने के लिए कृत्रिम वर्षा कराने के उद्देश्य से किया गया यह परीक्षण, सर्दियों के महीनों के दौरान बिगड़ती वायु गुणवत्ता में सुधार की दिल्ली सरकार की व्यापक रणनीति का हिस्सा है।
पिछले हफ्ते बुराड़ी के आसमान में भी विमान ने एक परीक्षण उड़ान भरी थी। परीक्षण के दौरान, विमान से कृत्रिम वर्षा कराने वाले ‘सिल्वर आयोडाइड और सोडियम क्लोराइड यौगिकों’ की सीमित मात्रा का छिड़काव किया गया था। हालांकि, बारिश वाले बादलों का निर्माण करने के लिए हवा में कम से कम 50 प्रतिशत नमी होनी चाहिए लेकिन इसकी तुलना में नमी 20 प्रतिशत से भी कम होने की वजह से बारिश नहीं हुई।








