सपा ने दो पुराने और तीन नए चेहरों पर लगाया दांव

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उन्नाव। समाजवादी पार्टी ने सोमवार को जिले की छह में से पांच सीटों पर प्रत्याशी घोषित कर दिए। दो पुराने और तीन नए चेहरों पर दांव लगाया गया है। बांगरमऊ क्षेत्र से प्रत्याशी की घोषणा नहीं की गई है। दावेदार पर अभी मंथन चल रहा है। दावा किया गया है कि जल्द ही बांगरमऊ से प्रत्याशी तय कर दिया जाएगा।
सपा ने सफीपुर (सुरक्षित) सीट से पूर्व स्वास्थ्य राज्यमंत्री सुधीर रावत पर लगातार चौथी बार बार भरोसा जताया है। पेशे से शिक्षक सुधीर रावत ने 2007 में पहली बार सपा के टिकट पर विधानसभा का चुनाव लड़ा और जीत हासिल की। 2012 में सपा ने उन्हें प्रत्याशी बनाया तो वह दोबारा विधायक बने। सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष की नजदीकी होने के चलते वर्ष 2015 में उन्हें तत्कालीन प्रदेश सरकार में स्वास्थ्य राज्यमंत्री बनाया गया। 2017 के चुनाव में उन्हें हार का सामना करना पड़ा। सपा ने एक बार फिर उन्हें प्रत्याशी घोषित कर चुनाव मैदान में उतारा है।
सपा ने पुरवा से पूर्व विधायक उदयराज यादव को लगातार छठवीं बार चुनाव मैदान में उतारा है। वह लगातार चार बार पुरवा से विधायक रहे हैं। उन्होंने 1996, 2002, 2007 और 2012 में चुनाव जीतकर कर क्षेत्र का प्रतिनिधित्व किया था। हालांकि 2017 के चुनाव में उन्हें हार का सामना करना पड़ा था और वह जीत की हैट्रिक लगाने से चूक गए थे।
उन्नाव सदर विधान सभा क्षेत्र से डॉ. अभिनव कुमार को टिकट दिया है। अभिनव पूर्व मंत्री स्व. मनोहर लाल के पौत्र और उन्नाव सदर सीट से 1996, 2007 और 2012 में सदर विधायक और 1999 में सपा से सांसद रहे स्व. दीपक कुमार के पुत्र हैं। वह निषाद समाज से आते हैं। दीपक कुमार के निधन के बाद 2014 में हुए उपचुनाव और 2017 के आम चुनाव में सपा ने अभिनव की मां मनीषा दीपक को प्रत्याशी बनाया था। हालांकि भाजपा की लहर में सपा को जीत नहीं मिल पाई थी।
सपा ने विधानसभा मोहान (सु.) से डॉ. आंचल वर्मा को चुनाव मैदान में उतारा है। डॉ. आंचल के पति डॉ. एसके वर्मा चिकित्सक हैं। उनका आवास विकास कालोनी में कमलावती हास्पिटल है। डॉ. आंचल के ससुर कमलचंद्र वर्मा हसनगंज के राजस्व कानूनगो रह चुके हैं। डॉ. आंचल का मायका वाराणसी में है। उनके पिता कैलाशनाथ 2017 में ओमप्रकाश राजभर की पार्टी सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी (सुभासपा) से अजगरा वाराणसी सीट से चुनाव लड़े थे और विधायक बने थे। उस समय भाजपा और सुभासपा का गठबंधन था। माता बबिता, बनारस के चोलापुर से जिला पंचायत सदस्य हैं। डॉ. आंचल पहली बार विधानसभा का चुनाव लड़ने जा रही हैं। ससुराल में किसी की भी राजनीतिक पृष्ठभूमि नहीं है।
भगवंतनगर से सपा ने अंकित सिंह परिहार को टिकट दिया है। उन्होंने नवंबर 2020 को ही पूर्व सांसद अन्नू टंडन के साथ ही सपा की सदस्यता ली थी। अंकित ने इससे पहले भगवंतनगर से कांग्रेस के टिकट पर 2012 में चुनाव लड़ा था। हालांकि वह चौथे स्थान पर रहे थे। इससे पहले 2002 और 2007 में उनके पिता वीर प्रताप सिंह परिहार भी इसी सीट पर कांग्रेस से चुनाव लड़ चुके हैं। हालांकि वह दोनों बार चौथे स्थान पर रहे थे। उनके चचेरे बाबा स्व. भगवती सिंह विशारद सात बार इसी विधानसभा क्षेत्र से विधायक रहे थे।

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उन्नाव। समाजवादी पार्टी ने सोमवार को जिले की छह में से पांच सीटों पर प्रत्याशी घोषित कर दिए। दो पुराने और तीन नए चेहरों पर दांव लगाया गया है। बांगरमऊ क्षेत्र से प्रत्याशी की घोषणा नहीं की गई है। दावेदार पर अभी मंथन चल रहा है। दावा किया गया है कि जल्द ही बांगरमऊ से प्रत्याशी तय कर दिया जाएगा।

सपा ने सफीपुर (सुरक्षित) सीट से पूर्व स्वास्थ्य राज्यमंत्री सुधीर रावत पर लगातार चौथी बार बार भरोसा जताया है। पेशे से शिक्षक सुधीर रावत ने 2007 में पहली बार सपा के टिकट पर विधानसभा का चुनाव लड़ा और जीत हासिल की। 2012 में सपा ने उन्हें प्रत्याशी बनाया तो वह दोबारा विधायक बने। सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष की नजदीकी होने के चलते वर्ष 2015 में उन्हें तत्कालीन प्रदेश सरकार में स्वास्थ्य राज्यमंत्री बनाया गया। 2017 के चुनाव में उन्हें हार का सामना करना पड़ा। सपा ने एक बार फिर उन्हें प्रत्याशी घोषित कर चुनाव मैदान में उतारा है।

सपा ने पुरवा से पूर्व विधायक उदयराज यादव को लगातार छठवीं बार चुनाव मैदान में उतारा है। वह लगातार चार बार पुरवा से विधायक रहे हैं। उन्होंने 1996, 2002, 2007 और 2012 में चुनाव जीतकर कर क्षेत्र का प्रतिनिधित्व किया था। हालांकि 2017 के चुनाव में उन्हें हार का सामना करना पड़ा था और वह जीत की हैट्रिक लगाने से चूक गए थे।

उन्नाव सदर विधान सभा क्षेत्र से डॉ. अभिनव कुमार को टिकट दिया है। अभिनव पूर्व मंत्री स्व. मनोहर लाल के पौत्र और उन्नाव सदर सीट से 1996, 2007 और 2012 में सदर विधायक और 1999 में सपा से सांसद रहे स्व. दीपक कुमार के पुत्र हैं। वह निषाद समाज से आते हैं। दीपक कुमार के निधन के बाद 2014 में हुए उपचुनाव और 2017 के आम चुनाव में सपा ने अभिनव की मां मनीषा दीपक को प्रत्याशी बनाया था। हालांकि भाजपा की लहर में सपा को जीत नहीं मिल पाई थी।

सपा ने विधानसभा मोहान (सु.) से डॉ. आंचल वर्मा को चुनाव मैदान में उतारा है। डॉ. आंचल के पति डॉ. एसके वर्मा चिकित्सक हैं। उनका आवास विकास कालोनी में कमलावती हास्पिटल है। डॉ. आंचल के ससुर कमलचंद्र वर्मा हसनगंज के राजस्व कानूनगो रह चुके हैं। डॉ. आंचल का मायका वाराणसी में है। उनके पिता कैलाशनाथ 2017 में ओमप्रकाश राजभर की पार्टी सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी (सुभासपा) से अजगरा वाराणसी सीट से चुनाव लड़े थे और विधायक बने थे। उस समय भाजपा और सुभासपा का गठबंधन था। माता बबिता, बनारस के चोलापुर से जिला पंचायत सदस्य हैं। डॉ. आंचल पहली बार विधानसभा का चुनाव लड़ने जा रही हैं। ससुराल में किसी की भी राजनीतिक पृष्ठभूमि नहीं है।

भगवंतनगर से सपा ने अंकित सिंह परिहार को टिकट दिया है। उन्होंने नवंबर 2020 को ही पूर्व सांसद अन्नू टंडन के साथ ही सपा की सदस्यता ली थी। अंकित ने इससे पहले भगवंतनगर से कांग्रेस के टिकट पर 2012 में चुनाव लड़ा था। हालांकि वह चौथे स्थान पर रहे थे। इससे पहले 2002 और 2007 में उनके पिता वीर प्रताप सिंह परिहार भी इसी सीट पर कांग्रेस से चुनाव लड़ चुके हैं। हालांकि वह दोनों बार चौथे स्थान पर रहे थे। उनके चचेरे बाबा स्व. भगवती सिंह विशारद सात बार इसी विधानसभा क्षेत्र से विधायक रहे थे।

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