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हिलौली। मौरावां-बछरावां मार्ग पर बख्तौरीखेड़ा गांव के पास डंपर की टक्कर से साइकिल सवार किसान की मौत हो गई। ग्रामीणों ने पीछा कर चालक को डंपर सहित रोक लिया और पुलिस को सौंपा है।
मौरावां थानाक्षेत्र के गांव शिवराजखेड़ा निवासी किसान गुरुप्रसाद यादव (60) रविवार को साइकिल से हिलौली बाजार सब्जी बेचने जा रहे थे। मौरावां-बछरावां मार्ग पर बख्तौरीखेड़ा गांव की मोड के पास तेज रफ्तार डंपर ने साइकिल में टक्कर मार दी। हादसे में वृद्ध गंभीर रूप से घायल हो गया। राहगीरों ने उन्हें एंबुलेंस से सीएचसी भेजा। यहां डॉक्टर ने मृत घोषित कर दिया।
परिजनों की सूचना पर पहुंची पुलिस ने शव पोस्टमार्टम के लिए भेजा। पति की मौत से पत्नी निर्मला देवी और बेटा सोनू बेहाल हैं। थानाध्यक्ष अमरनाथ सिंह ने बताया कि मृतक के बेटे की तहरीर पर शव का पोस्टमार्टम कराया जा रहा है। चालक गोरखपुर से झांसी गिट्टी लेने जा रहा था।
लखनऊ से आने वाले ट्रकों को मोहनलालगंज से बनी बंथरा होते हुए कानपुर होकर जाना चाहिए लेकिन, टोल बचाने के चक्कर में ट्रक चालक बीच में मौरावां बछरावां मार्ग पर डंपर मोड़ देते हैं। दूरी कम होने से डीजल भी कम लगता है। इससे अधिकतर चालक इसी रास्ते से आते-जाते हैं। यही वजह है कि इस मार्ग पर आए दिन दुर्घटनाएं होती हैं।
हिलौली। मौरावां-बछरावां मार्ग पर बख्तौरीखेड़ा गांव के पास डंपर की टक्कर से साइकिल सवार किसान की मौत हो गई। ग्रामीणों ने पीछा कर चालक को डंपर सहित रोक लिया और पुलिस को सौंपा है।
मौरावां थानाक्षेत्र के गांव शिवराजखेड़ा निवासी किसान गुरुप्रसाद यादव (60) रविवार को साइकिल से हिलौली बाजार सब्जी बेचने जा रहे थे। मौरावां-बछरावां मार्ग पर बख्तौरीखेड़ा गांव की मोड के पास तेज रफ्तार डंपर ने साइकिल में टक्कर मार दी। हादसे में वृद्ध गंभीर रूप से घायल हो गया। राहगीरों ने उन्हें एंबुलेंस से सीएचसी भेजा। यहां डॉक्टर ने मृत घोषित कर दिया।
परिजनों की सूचना पर पहुंची पुलिस ने शव पोस्टमार्टम के लिए भेजा। पति की मौत से पत्नी निर्मला देवी और बेटा सोनू बेहाल हैं। थानाध्यक्ष अमरनाथ सिंह ने बताया कि मृतक के बेटे की तहरीर पर शव का पोस्टमार्टम कराया जा रहा है। चालक गोरखपुर से झांसी गिट्टी लेने जा रहा था।
लखनऊ से आने वाले ट्रकों को मोहनलालगंज से बनी बंथरा होते हुए कानपुर होकर जाना चाहिए लेकिन, टोल बचाने के चक्कर में ट्रक चालक बीच में मौरावां बछरावां मार्ग पर डंपर मोड़ देते हैं। दूरी कम होने से डीजल भी कम लगता है। इससे अधिकतर चालक इसी रास्ते से आते-जाते हैं। यही वजह है कि इस मार्ग पर आए दिन दुर्घटनाएं होती हैं।
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